NSDL के शेयर 6 अगस्त को होंगे लिस्ट — क्या मिलेगी तगड़ी लिस्टिंग कमाई?
भारत की दूसरी सबसे बड़ी डिपॉजिटरी NSDL (नेशनल सिक्योरिटीज डिपॉजिटरी लिमिटेड) 6 अगस्त 2025 को शेयर बाजार (NSE और BSE) में लिस्ट होने जा रही है। IPO को निवेशकों से जबरदस्त रिस्पॉन्स मिला है, जिससे लिस्टिंग डे पर अच्छे मुनाफे की उम्मीद की जा रही है।
आईपीओ से जुड़ी मुख्य जानकारियाँ:
- आईपीओ ओपन: 30 जुलाई 2025
- आईपीओ क्लोज: 1 अगस्त 2025
- प्राइस बैंड: ₹760–₹800 (फाइनल प्राइस ₹800)
- शेयर अलॉटमेंट: 4 अगस्त को फाइनल
- डीमैट क्रेडिट/रिफंड: 5 अगस्त
- लिस्टिंग डेट: 6 अगस्त 2025 (बुधवार)
- IPO साइज: 5.01 करोड़ शेयर (सिर्फ OFS - Offer for Sale)
NSDL को इस IPO से कोई नया कैपिटल नहीं मिलेगा, क्योंकि यह पूरा ऑफर फॉर सेल है जिसमें NSE, SBI, IDBI, HDFC Bank, Union Bank और SUUTI जैसे मौजूदा शेयरहोल्डर्स ने अपनी हिस्सेदारी बेची है।
निवेशकों की दिलचस्पी:
IPO को निवेशकों ने भारी समर्थन दिया:
- कुल सब्सक्रिप्शन: ~41 गुना
- QIB (संस्थागत निवेशक): 104×
- NII (हाई नेटवर्थ): 35×
- रिटेल निवेशक: लगभग 7.7×
यह दर्शाता है कि निवेशकों को कंपनी के बिजनेस मॉडल और मार्केट पोजिशन पर पूरा भरोसा है।
ग्रे मार्केट प्रीमियम (GMP) और संभावित लिस्टिंग गेन:
- GMP: ₹120–₹126 (फाइनल प्राइस ₹800 के ऊपर)
- संभावित लिस्टिंग प्राइस: ₹920–₹926
- लिस्टिंग डे पर संभावित गेन: ~15–16%
मार्केट एक्सपर्ट्स के मुताबिक, NSDL के शेयर 12% से 16% प्रीमियम पर लिस्ट हो सकते हैं।
क्या NSDL देगा लिस्टिंग डे पर धमाका?
कारण जो लिस्टिंग गेन की संभावना को मजबूत करते हैं:
- जबरदस्त सब्सक्रिप्शन रेस्पॉन्स
- मजबूत ग्रे मार्केट ट्रेंड
- कंपनी की स्थिर कमाई और डोमिनेंट मार्केट पोजिशन
- निवेशकों में भरोसा और लंबी अवधि के लिए संभावनाएं
अगर मार्केट सेंटिमेंट 6 अगस्त को स्थिर रहा, तो NSDL के शेयर शानदार तरीके से लिस्ट हो सकते हैं।
NSDL IPO – एक नजर में:
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विवरण |
जानकारी |
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फाइनल प्राइस |
₹800 प्रति शेयर |
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अलॉटमेंट डेट |
4 अगस्त 2025 |
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डीमैट क्रेडिट/रिफंड |
5 अगस्त 2025 |
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लिस्टिंग डेट |
6 अगस्त 2025 |
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ग्रे मार्केट प्रीमियम (GMP) |
₹120–₹126 (~15% ऊपर) |
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संभावित लिस्टिंग गेन |
~12%–16% |
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इश्यू प्रकार |
सिर्फ OFS (नया पैसा नहीं आ रहा) |
निष्कर्ष:
अगर आपको अलॉटमेंट मिला है तो 12%–16% लिस्टिंग गेन मिल सकता है। हालांकि, ग्रे मार्केट प्रीमियम हमेशा भरोसेमंद नहीं होता, इसलिए लॉन्ग टर्म में कंपनी के बिजनेस मॉडल को देखते हुए भी इसे एक मजबूत निवेश माना जा सकता है।

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